kyphoplasty vs vertebroplasty (वेरटेब्रोप्लास्टी और कयफोप्लास्टी)

24
Apr

kyphoplasty vs vertebroplasty (वेरटेब्रोप्लास्टी और कयफोप्लास्टी)

वेरटेब्रोप्लास्टी और कयफोप्लास्टी

ऑस्टियोपोरोसिस की वजह से होने वाले स्पाइनल फ्रैक्चर को ठीक करने के लिए वेरटेब्रोप्लास्टी या कयफोप्लास्टी सर्जरी की जाती है। दोनों सर्जरी फ्रैक्चर के कारण होने वाले दर्द से राहत दिलाने में और रीढ़ की हड्डी की विकृति को रोकने में कारगर है।

न्यूनतम इनवेसिव चीरों के द्वारा टूटी हुई हड्डियों में बोन सीमेंट इंजेक्ट किया जाता है ताकि वह अपनी मूल स्थिति में वापस सके। ये प्रक्रियाएं करने से पहले मरीज़ को लोकल एनेस्थीसिया इंजेक्ट किया जाता है।

एक ही उद्देश्य होने के कारण जहां एक ओर इन दोनों सर्जरी में कुछ समानताएँ है वहीं दूसरी ओर कुछ अंतर भी है। जो दोनों प्रक्रियाओं को पूरी तरह से जानने के बाद साफ़ नज़र आते है।
 

वेरटेब्रोप्लास्टी सर्जरी की प्रक्रिया-

  • सबसे पहले मरीज को लोकल एनेस्थीसिया इंजेक्ट किया जाता है।

  • इस ऑपरेशन के लिए मरीज़ को पेट के बल लेटाया जाता है।

  • एक छोटे छेद के जरिए बायोप्सी सुई को अंदर डाला जाता है, ये एक्स-रे की मदद से किया जाता है।

  • फिर, हड्डी के अंदर के खाली स्थान को भरने के लिए बोन सीमेंट इंजेक्ट किया जाता है। इस सीमेंट को कठोर होने में दस मिनट का समय लगता है।

  • अंत में, छेद को बैंडेज की मदद से बंद कर दिया जाता है।

 

कयफोप्लास्टी सर्जरी की प्रक्रिया-

  • सबसे पहले मरीज को लोकल एनेस्थीसिया इंजेक्ट किया जाता है।

  • इस ऑपरेशन के लिए मरीज़ को पेट के बल लेटाया जाता है।

  • एक्स-रे की मदद से एक गुब्बारा कैथेटर (एक खोखली नली जिसके एक छोर पर गुब्बारा हो) को वेर्टेब्रा में डाला जाता है। जिसे एक तरल पदार्थ के जरिये फुलाया जाता है।

  • जैसे-जैसे गुब्बारा फूलता जाता है वेर्टेब्रा अपनी मूल स्थिति में वापस जाता है।

  • अब गुब्बारे को पिचकाकर उसको हटा लिया जाता है।

  • गुब्बारे को हटाने के बाद जो रिक्त स्थान बचता है उसे गाढ़े बोन सीमेंट से भर दिया जाता है। इस सीमेंट को कठोर होने में दस मिनट का समय लगता है।

  • अंत में, छेद को बैंडेज की मदद से बंद कर दिया जाता है।

दोनों प्रक्रियाओं के अपने-अपने नुकसान है और फायदे है। आपके लिए कौन सा तरीका बेहतर रहेगा ये मरीज़ की पूरी जांच के बाद ही कहा जा सकता है।

आज ही एक अनुभवी पैन फिजिशियन या न्यूरोसर्जन से परामर्श करें।